- सरकार की FAME सब्सिडी में कटौती से दोपहिया इलेक्ट्रिक वाहनों के निर्माताओं को बड़ी मार लग रही है।
- इसके कारण कुछ कंपनियों ने EV कीमत बढ़ाई, जिससे ग्राहक डीलर्स में कम उत्साहित दिख रहे हैं
FAME (Faster Adoption and Manufacturing of Hybrid and Electric Vehicles) योजना की सब्सिडी कटौती का असर भारत के दोपहिया EV (Electric Vehicle) बाजार पर गंभीर रूप से पड़ा है। इसने बिक्री, ग्राहक रुचि और निर्माता रणनीति—तीनों को प्रभावित किया है।

⚠️ क्या है FAME योजना?
- FAME योजना भारत सरकार की एक प्रमुख पहल है जिसका उद्देश्य इलेक्ट्रिक वाहनों को बढ़ावा देना है।
- 2019 में FAME-II योजना लाई गई, जिसमें दोपहिया, तिपहिया और चारपहिया इलेक्ट्रिक वाहनों पर सरकार की ओर से सब्सिडी दी जाती है।
- FAME-II के तहत दोपहिया EVs को ₹15,000 प्रति kWh तक सब्सिडी दी जाती थी।
🔻 क्या हुआ बदलाव?
- जून 2023 से शुरू होकर 2025 की शुरुआत तक सरकार ने चरणबद्ध रूप से सब्सिडी में कटौती की:
- पहले ₹15,000/kWh → अब घटकर ₹5,000–₹7,500/kWh तक पहुंच गई है।
- सब्सिडी की कुल लिमिट भी घटा दी गई, और पात्रता मानकों को सख्त कर दिया गया।
💥 असर: कंपनियों पर
निर्माता | असर |
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Ola Electric | S1 Series की कीमत में ₹15,000–₹25,000 की बढ़ोतरी हुई। |
Ather Energy | सब्सिडी कटने के बाद Ather 450X की कीमत ₹1.25 लाख से ऊपर गई। |
TVS iQube | कीमतें बढ़ीं, साथ ही वेरिएंट्स में बदलाव भी किया गया। |
Hero Electric | उत्पादन और बिक्री में भारी गिरावट आई — कंपनी ने सब्सिडी कटौती को ‘झटका’ बताया। |
👥 ग्राहक प्रतिक्रिया
- डीलरशिप्स पर ग्राहक ट्रैफिक कम हुआ है क्योंकि कीमतें बढ़ने से EV का बजट-फ्रेंडली विकल्प कमजोर हुआ।
- कई ग्राहक अब पेट्रोल स्कूटर की तुलना में EV को महंगा और अनिश्चित मानने लगे हैं।
- EMI योजनाओं में रुचि तो बनी हुई है, लेकिन ग्राहक निर्णय टालने लगे हैं।
📊 बिक्री पर असर (2024-25 की पहली तिमाही के आंकड़े)
महीना | दोपहिया EV रजिस्ट्रेशन में गिरावट |
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अप्रैल | -19% |
मई | -23% |
जून | -15% |
स्रोत: FADA (Federation of Automobile Dealers Association) रिपोर्ट्स
🏛️ उद्योग की मांग
- EV निर्माताओं ने केंद्र सरकार से अपील की है कि:
- सब्सिडी को धीरे-धीरे हटाया जाए,
- या राज्यों को वित्तीय समर्थन दिया जाए जिससे वे स्थानीय स्तर पर छूट दे सकें।
- Ather, Ola, Hero, TVS सभी का मानना है कि अचानक कटौती से ग्रामीण और छोटे शहरों में EV को अपनाना मुश्किल होगा।
📍 आगे की राह
- कुछ राज्य सरकारों (जैसे दिल्ली, महाराष्ट्र, तमिलनाडु) ने अपने स्तर पर EV सब्सिडी को बनाए रखने का प्रयास किया है।
- केंद्र सरकार FAME-III की योजना पर काम कर रही है, जिसमें दोपहिया क्षेत्र को फिर से कुछ राहत मिल सकती है, पर उसकी घोषणाएं अभी लंबित हैं।
🧭 निष्कर्ष
- FAME सब्सिडी की कटौती ने दोपहिया EV बाजार को संक्रमण काल में डाल दिया है।
- कीमतें बढ़ने से उपभोक्ता रुझान प्रभावित हुआ है, जिससे कई कंपनियों की रणनीति और बिक्री दबाव में आ गई है।
- यदि जल्द ही नीति में स्थिरता और स्पष्टता नहीं आई, तो EV सेक्टर का विकास अस्थायी रूप से धीमा पड़ सकता है।